SP Transfar सीएम शिवराज से शिकायत के बाद मुरैना SP आशुतोष बागरी हटाए गए, अचानक क्यों गिरी गाज

मध्य प्रदेश के चंबल के मुरैना जिले के एसपी आशुतोष बागरी को अचानक हटा दिया गया है। तीन दिन पहले भी कुछ इसी तरह भोपाल के कलेक्टर अविनाश लवानिया को राज्य शासन ने हटाकर कौशलेंद्र विक्रम सिंह को जिम्मेदारी सौंपी थी लेकिन दो दिन बाद संशोधित आशीष सिंह को कलेक्टर बनाया गया। आखिरी क्या वजह रही कि बागरी को ऐसे हटाया गया और इसके पीछे क्या कारण रहे, आपको इस रिपोर्ट में हम बता रहे हैं। भारतीय पुलिस सेवा के 2015 बैच के आईपीएस अधिकारी आशुतोष बागरी मुरैना एसपी थे। उनके बारे में यह कहा जाता था कि वे ग्वालियर-चंबल संभाग के भाजपा की राजनीति के सभी नेताओं के साथ संतुलित भाव से व्यवहार करते थे लेकिन भाजपा के ही कुछ नेता उनसे नाखुश भी थे। पिछले दिनों जब मुरैना में सीएम शिवराज सिंह चौहान पहुंचने वाले थे तो एक सिपाही का अपहरण हो गया था और इसके बाद बामौर ब्लॉक में एक व्यापारी की हत्या कर दी गई थी। इन मुद्दों को लेकर कांग्रेस के जिला अध्यक्ष दीपक शर्मा ने काले झंडे दिखाने का ऐलान किया था तो सीएम के पहुंचने पर भाजपा के कुछ नेताओं ने जिले की कानून व्यवस्था पर चिंता जताते हुए शिकायत कर दी थी। इस बीच उनके कार्यक्रम में एक महिला अपनी पीड़ा लेकर पहुंची तो पुलिस उसे मीडिया से बचाते हुए तंबू के पीछे ले गई थी। जबकि महिला रोती-बिलखती कह रही थी कि वह सीएम से मिलना चाहती थी और अपनी पीड़ा कहना चाहती है।

वल्लभ भवन से शाम को बागरी का तबादला आदेश जारी

सीएम चौहान के भोपाल लौटने के बाद वल्लभ भवन में उनके हटाए जाने की प्रक्रिया तेज हुई और गुरुवार की शाम को आदेश जारी कर दिए गए। बागरी को पुलिस मुख्यालय में सहायक महानिरीक्षक बनाया गया है। वैसे आशुतोष बागरी की कार्यप्रणाली को लेकर राजनीतिक दलों के कार्यकर्ताओं से हटकर दूसरे लोगों की राय अलग बताई जा रही है।

बागरी के माता-पिता का मामला भी बना चुका सुर्खियां

गौरतलब है कि आशुतोष बागरी के माता-पिता की सरकारी तीर्थदर्शन योजना की कोशिश का मामला भी जनवरी में सुर्खियां बन चुका है। मामला सतना जिले का है। बागरी के पिता सतना में शिक्षक हैं तो मां भी आयकरदाता हैं। यह दोनों ही श्रेणी तीर्थदर्शन योजना के लिए किसी भी व्यक्ति के लिए अपात्र होने वाली होती हैं लेकिन इसके बाद भी बागरी के माता-पिता ने तीर्थदर्शन योजना में जानकारियां छिपाकर अपना पंजीयन करा लिया था। इसके बाद उनके पिता को कलेक्टर ने निलंबित भी किया था।